सरधना से गायब महिला का शव मोरना में नाले के किनारे मिला

मुजफ्फरनगर। मेरठ के सरधना क्षेत्र से गायब हुई महिला का शव तीन दिनों बाद मोरना में शुक्रताल मार्ग पर नाले के किनारे फाँसी लगी हालत में मिला। सोशल मीडिया के माध्यम से फोटो वायरल होने पर परिजनों ने शव की शिनाख्त की। पुलिस ने शव का पंचनामा भरकर पोस्टमार्टम के लिये भेज दिया। सन्दिग्ध परिस्थितियों में मिले महिला के शव की जाँच में पुलिस जुट गयी है।
भोपा थाना क्षेत्र के गाँव मोरना में रविवार की सुबह शुक्रताल मार्ग पर सड़क किनारे झाड़ियों में लघु शंका के लिये गयी महिला की नजर वहाँ झाड़ी में लटके महिला के शव पर पड़ी तो उसकी चीख निकल गयी। महिला की सूचना पर ग्रामीणों की भारी भीड़ इकट्ठा हो गयी। क्षेत्राधिकारी गिरिजा शंकर त्रिपाठी, प्रभारी निरीक्षक पंकज रॉय व चैकी इंचार्ज मोरना गणेश शर्मा मौके पर पहुँच गये। फोरेंसिक टीम व डॉग स्क्वायड ने मौके पर पहुँची और गहनता से घटनास्थल का निरीक्षण किया। पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिये भेज दिया तथा शिनाख्त के प्रयास शुरू कर दिये।
दोपहर को सोशल मीडिया पर वायरल हुए फोटो वायरल होने पर महिला की शिनाख्त 52 वर्षीय सरोज देवी पत्नी हरिचन्द निवासी गाँव एत्मादनगर अलीपुर थाना सरधना जिला मेरठ के रूप में हुई। भोपा थाना पहुँचे मृतका के पुत्र भास्कर ने बताया कि उनकी माता सरोज देवी गत 13 मई की दोपहर घर से यह कहकर निकली थी कि वह मौहल्ले में होने वाली शादी के पूर्व लोकगीत संगीत में शामिल होने जा रही है। देर शाम तक जब सरोज घर न पहुँची तो परिजनों को चिन्ता हुई। सरोज की गुमशुदगी की सूचना सरधना थाने पर दी गयी। सरोज देवी की तलाश सभी सम्भावित स्थानों पर की गयी। रविवार को सरोज देवी के शव मिलने की सूचना मिलने पर परिजन थाने पर पहुंचे व शव की शिनाख्त की। परिजनों ने सरोज की हत्या की आशंका जताते हुए सरधना थाना पुलिस पर लापरवाही के आरोप लगाये व भोपा पुलिस से घटना के खुलासे की मांग की है।
सरोज की मौत की उलझी गुत्थी
सरोज का शव मोरना में शुक्रताल मार्ग पर बस स्टैण्ड से चन्द कदम की दूरी पर नाले किनारे खड़ी झाड़ियों में एक छोटे से पेड़ की पतली शाखा से लटका मिला। महिला का आधा शरीर जमीन को छू रहा था तथा महिला के चप्पल व्यवस्थित अवस्था में मिले जिससे महिला की हत्या की आशंका प्रबल हो गयी। महिला की एक पुत्री गीता की ससुराल मोरना में है। गीता पिछले 15 दिनों से अपने मायका में ही है। सरोज साधारण जाटव परिवार की ग्रहणी थी जो फिलहाल कभी कभी मानसिक ग्रस्त हो जाती थी तथा तांत्रिक वगैरह के पास झाड़ फूँक के लिये भी जाती रहती थी। सरोज की मौत को हत्या मानकर परिजन घटना के खुलासे की मांग कर रहे हैं।