गुस्साए किसानों ने किया रास्ता जाम, टिकैत को Z+ सुरक्षा की मांग

भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत पर कर्नाटक में पीसी के दौरान हुए हमले व काली स्यान्ही फेंके जाने की घटना से नाराज भारतीय किसान यूनियन के कार्यकर्ताओं ने जिला उपाध्यक्ष विकास शर्मा व ब्लॉक अध्यक्ष कुलदीप त्यागी के नेतृत्व में मुजफ्फरनगर थानाभवन रोड को जाम करते हुए जमकर नारेबाजी की। वहीं आक्रोशित कार्यकर्ताओं द्वारा कर्नाटक सरकार का पुतला दहन करते हुए थाना प्रभारी को ज्ञापन सौंपा।
सोमवार को बंगलूरू में कर्नाटक राज्य रैयत संघ की किसान पंचायत में भाकियू राष्ट्रीय प्रवक्ता चौ. राकेश टिकैत के मुंह पर स्याही फेंकी गई। जिसको लेकर भाकियू में रोष फेल गया।काली स्यान्ही फेंके जाने की घटना से नाराज भारतीय किसान यूनियन के कार्यकर्ताओं ने जिला उपाध्यक्ष विकास शर्मा व ब्लॉक अध्यक्ष कुलदीप त्यागी के नेतृत्व में मुजफ्फरनगर थानाभवन रोड को जाम करते हुए जमकर नारेबाजी की। वहीं आक्रोशित कार्यकर्ताओं द्वारा कर्नाटक सरकार का पुतला दहन करते हुए थाना प्रभारी को ज्ञापन सौंपा।इस अवसर पर भाकियू जिला उपाध्यक्ष विकास शर्मा ने कहा कि या तो कर्नाटक की राज्य और देश की केन्द्र सरकार चौ. राकेश टिकैत के साथ हुई कायरतापूर्ण इस हरकत का संज्ञान लेकर आरोपियों के विरुद्ध कड़ी से कड़ी कार्रवाई करे। अन्यथा इस मामले में भाकियू स्वयं कोई निर्णय लेकर आगे की कार्रवाई अमल में लाएगी। जिसकी पूरी जिम्मेदारी राज्य व केन्द्र सरकार की होगी। उन्होंने कहा कि किसान आंदोलन के बाद लगातार किसान नेताओं पर हमले हो रहे हैं। जगह जगह उन्हें निरुत्साहित करने का प्रयास किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि चौ. राकेश टिकैत की सुरक्षा खतरे में है। ऐसे में भाकियू केन्द्र सरकार से मांग करती है कि किसान नेता को जेड प्लस श्रेणी की सुरक्षा मुहैया कराए। इस मौके पर सरफराज त्यागी,पवन त्यागी,ठाकुर ओमकिरण, ओमकार,कृष्ण,सिल्लू,सौरभ,नदीम,मामचंद,ब्रजपाल,सूंदर,
याद्दा,अकरम ,अनीस,फिरोज,समद राइन,तौहीद,आलम आदि मौजूद रहे।
किसानों ने बताया राजनैतिक षडयंत्र:-
राकेश टिकैत पर कर्नाटक के बंगलुरु में प्रेसवार्ता के दौरान स्याही फेंके जाने के बाद भाकियू की मुजफ्फरनगर इकाई में जबरदस्त रोष है। उन्होंने इस घटना को राजनीतिक षड़यंत्र बताते हुए अफसोस जाहिर किया है और सरकार से राकेश टिकैत को जेड श्रेणी की सुरक्षा दिलाये जाने की मांग की है। भारतीय किसान यूनियन ने चेतावनी दी है कि यदि सरकार ने आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्यवाही नहीं की, तो सरकार इसका खामियाजा भुगतने के लिए तैयार रहे। बता दें कि कि कर्नाटक के एक किसान नेता का स्टिंग आप्रेशन हुआ था, जिस प्रकरण में भाकियू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत कर्नाटक के किसान नेता युद्धवीर के कहने पर बंगलुरू में एक प्रेसवार्ता कर अपना पक्ष रख रहे थे। इसी दौरान कुछ लोगों ने बहस शुरु कर दी और बहस के दौरान ही उन पर काली स्याही फेंक दी। इसके बाद कार्यक्रम में तोड़फोड़ हुई। टिकैत के मुताबिक स्याही फेंकने वाले और हंगामा करने वाले किसान नेता स्टिंग आप्रेशन में नजर आये किसान नेता चंद्रशेखर के समर्थक थे। बंगलुरु में राकेश टिकैत के ऊपर स्याही फेंके जाने की सूचना जैसे मुजफ्फरनगर में पहुंची, तो भारतीय किसान यूनियन समेत किसानों में आक्रोश फैल गया। भारतीय किसान यूनियन की स्थानीय इकाई द्वारा महावीर चैक स्थित कार्यालय पर आपातकालीन बैठक बुलाई गई, जिसमें बंगलुरु की घटना की घोर निंदा करते हुए सरकार से आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई किये जाने तथा राकेश टिकैत को जेड श्रेणी की सुरक्षा दिये जाने की मांग की गई। भारतीय किसान यूनियन के जिलाध्यक्ष योगेश शर्मा ने कहा कि सरकार इस तरह की घटनाओं को अंजाम देकर किसानों की आवाज को यह सरकार नहीं दबा सकती। साथ ही यह चेतावनी दी कि यदि राकेश टिकैत का बाल भी बांका हुआ तो इस सरकार र्की इंट र्से इंट बजा दी जाएगी। इस तरह की अभद्रता कतई बर्दाश्त नहीं किया जाएगी। बता दें कि राकेश टिकैत भारतीय किसान यूनियन के वरिष्ठ नेता हैं। तीन बिलों के विरोध में संयुक्त मोर्चा के तत्वावधान में राकेश टिकैत द्वारा गाजीपुर बॉर्डर पर भारतीय किसान यूनियन का नेतृत्व किया गया था। जब किसान आंदोलन कमजोर पड़ रहा था, तो उस समय राकेश टिकैत ने रोते हुए किसानों से अपील की थी, जिसके बाद मुजफ्फरनगर में एक महापंचायत हुई थी और इस महापंचायत में सैलाब उमड़ पड़ा था, जिसके बाद किसान आंदोलन को नई धार मिली थी।