आंदोलन की राह पर भट्टा मालिक, ईंट निर्माताओ की समस्याओं पर तत्काल ध्यान दे सरकार:प्रमोद

मुज़फ्फरनगर। सरकार की नीतियों से आहत भट्टा मालिकान नाराज़ है। सूबे के ईंट कारोबार पर ब्रेक लगा हुआ है। ऐसे में भट्टा उद्योग की मौजूदा समस्याओं पर विचार विमर्श के लिए ईट निर्माता कल्याण समिति की एक बैठक एनएच -58 पर स्थित देवराना में संपन्न हुई। समिति अध्यक्ष प्रमोद कुमार ने कहा कि अखिल भारतीय ईट एवं टाइल्स निर्माता संघ एवं उत्तर प्रदेश ईट निर्माता समिति के उस निर्णय का समर्थन रहेगा जिसमे 12 से 17 सितंबर तक ईट बिक्री ना करने का ऐलान किया गया है।उन्होंने व्यापार की प्रमुख समस्याओं पर सरकार का ध्यान आकर्षित करते हुए कहा कि कोयले के दाम गत वर्षों के मुकाबले ढाई गुना से भी ज्यादा बढ़ चुके हैं।दूसरा प्रमुख मुद्दा जीएसटी जो पहले एक से पांच प्रतिशत थी,अब नए वित्तीय वर्ष में अप्रैल महीने से 6 प्रतिशत बिना आईटीसी के और 12 प्रतिशत आईटीसी के साथ लागू है। प्रमोद कुमार ने कहा कि उपरोक्त हालात में इस कुटीर उद्योग को चलाना मुश्किल है और उनकी सरकार से मांग है कि भट्टा मालिकों को सरकारी रेट पर कोयला उपलब्ध कराया जाए, जीएसटी 12 प्रतिशत से घटाकर 5 प्रतिशत की जाए और तत्काल सभी हाई ड्राफ्ट जिगजैग भट्टों को प्रदूषण सहमति पत्र (कंसेंट) जारी की जाए। महामंत्री बलराम तायल ने सभी भट्टा मालिकों से 17 सितंबर तक बिक्री ना करने को कहा।
बैठक में समिति महामंत्री बलराम तायल, प्रवक्ता एवं मीडिया प्रभारी हाजी जियाउर रहमान, उपाध्यक्ष करणवीर प्रधान, सह मंत्री कृष्ण त्यागी, अमरपाल पूनिया, धीरज राठी, देवेंद्र बडसू आदि मौजूद रहे।