पश्चिमांचल निर्माण पार्टी ने किया पालिका, MP-MLA चुनाव लड़ने का ऐलान

ट्रू स्टोरी
मुज़फ्फरनगर के ग्रीन फील्ड मॉडर्न हाई स्कूल सूरज विहार में पश्चिमांचल निर्माण पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की प्रथम बैठक सम्पन्न हुई। बैठक की अध्यक्षता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉक्टर सतेन्द्र सिंह व संचालन राष्ट्रीय महासचिव वारिस अहमद ने किया। पार्टी संविधान के अनुसार डा.ओमपाल सिंह, राजेन्द्र सिंह गुर्जर, पीताम्बर सिंह, अनिल चौधरी केन्द्रीय उपाध्यक्ष रघुनाथ त्यागी, अमित राठी, श्रीमती बीना शर्मा, एकम सिंह गुर्जर केन्द्रीय महासचिव, संजीव मलिक मासूम, आशीष गैसी को संगठन सचिव, विपिन कुमार गंगानिया, इमरान राव राष्ट्रीय सचिव के पद पर सर्वसम्मति से चुना गया। श्रीमती सुमित्रा देवी, सुगन्धा रानी, सुजीत कुमार, पुष्पेन्द्र कुमार चौधरी, इफ्तिखार अली सदस्य राष्ट्रीय कार्यकारिणी बनाए गये, डा० सिराज ताजवर प्रदेश उपाध्यक्ष, सतेन्द्र राठी प्रदेश उपसचिव बनाये गये।
बैठक को सम्बोधित करते हुए डा.सतेन्द्र सिंह ने कहा कि पश्चिमी उत्तर प्रदेश अलग राज्य गठन की मांग को लेकर सन् 2018 में उत्तम प्रदेश निर्माण संगठन (अराजनैतिक) का रजिस्ट्रेशन कराया था. पिछले लगभग साढ़े चार वर्ष में संगठन द्वारा पश्चिमी उत्तर प्रदेश के 21 जनपदों में कार्यशालाओं, रैली, सम्मेलनों का आयोजन कर लोगों को अलग राज्य गठन के लिए जागरूक कर रहा है। पश्चिमी उत्तर प्रदेश के लोगों को उनका हक दिलाने के लिए पश्चिमांचल पार्टी का गठन किया गया है ताकि जनप्रतिनिधि विधान सभा, लोकसभा में मजबूती के साथ दमदार ढंग से अलग राज्य की मांग उठा सके। उन्होंने कहा पार्टी नवम्बर 2022 में नगर पालिका, नगर पंचायत वार्ड सदस्यों को चुनाव लडाएगी। लोकसभा चुनाव 2024 में पश्चिमी उत्तर प्रदेश की 21 सीटों पर व 114 विधान सभा सीटों पर अपने उम्मीदवारों को चुनाव लडाएगी। अलग पश्चिमी उत्तर प्रदेश अलग राज्य क्यों बनना चाहिए पर अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि हाई कोर्ट इलाहाबाद की दूरी पश्चिमी उत्तर प्रदेश से 800 किमी० दूर होने की वजह से विश्व का सबसे महंगा न्याय पश्चिमी उत्तर प्रदेश के लोगों को मिलता है। राजधानी लखनऊ भी 600 किमी० दूर है। उत्तर प्रदेश में 30 मैडिकल कॉलेज में से मात्र 4 मैडिकल कॉलेज पश्चिमी उत्तर प्रदेश में है। पश्चिमी उत्तर प्रदेश में कोई सरकारी इंजीनियरिंग कॉलेज, कोई आई०आई०टी० व आई०आई०एम० भी नहीं है। उत्तर प्रदेश में दो AIMS है जबकि पश्चिमी उत्तर प्रदेश में एक भी AIMS भी नहीं। महंगी चिकित्सा के लिए रोगियों को प्राइवेट चिकित्सालय में जाना पड़ता है।
संगठन सचिव संजीव मलिक मासूम ने कहा कि मात्र एक एग्रीकल्चर विश्वविद्यालय है। PCS और PPS की भर्ती केन्द्र पूरब में है। सभी बड़े सरकारी कार्यालय पूरब में है। राष्ट्रीय महासचिव वारिस अहमद ने कहा कि 72% रेवेन्यू देने वाले पश्चिमी उत्तर प्रदेश के लोगों को मात्र 18 प्रतिशत धनराशि विकास कार्यों के लिए मिलती है। सारे विकास के कार्य पूरब में पश्चिम की अनदेखी की जाती है। किसानों को गन्ने का रेट लागत के मुकाबले कम मिलता है। पश्चिम के युवकों को रोजगार के साधन उपलब्ध नहीं है। पश्चिमांचल की लगभग 80 प्रतिशत सरकारी नौकरी पर बाहरी लोगों का कब्जा है। अपराध व भ्रष्टाचार पर अंकुश नहीं है। माता बहने सुरक्षित नहीं है।
प्रदेश सचिव सतेन्द्र राठी ने कहा कि बड़े प्रदेश की शासन प्रशासन व्यवस्था को संभाल पाना मुश्किल काम है। इसलिए पश्चिमी उत्तर प्रदेश की जनता के विकास के लिए अलग पश्चिमी प्रदेश का गठन जरूरी है। जिसके लिए उत्तम प्रदेश निर्माण संगठन व पश्चिमांचल निर्माण पार्टी संयुक्त रूप से आन्दोलन कर पश्चिमी उत्तर प्रदेश के लोगों को उनका हक दिलाएगी।उत्तम प्रदेश निर्माण संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष रामपाल सिंह पुण्डीर, उत्तम प्रदेश निर्माण संगठन महासचिव डा० विपिन शर्मा, प्रदेश महासचिव ललित राठी आदि ने सम्बोधित किया।
बैठक में पश्चिमी उत्तर प्रदेश के बरेली से आशीर्ष मैसी, मुरादाबाद से चौधरी कुलबीर सिंह एडवोकेट, गाजियाबाद से डा० विपिन शर्मा, मेरठ से ललित राठी, सहारनपुर से डा० राजेश कुमार, शामली से इफ्तिार अली, बागपत से रकम सिंह गुर्जर व अमित गुर्जर, बिजनौर से पीताम्बर सिंह, हापुड से अलीक मैसी, बुलन्दशहर से इन्द्रपाल सिंह चौहान, अलीगढ़ से जगदीश हाथरस से गजेन्द्र सिंह, रामपुर से मुकर्रम अली, पीलीभीत से अरविन्द सैगर, सम्भल से तुषार सिंह, नोएडा से मनोज गुर्जर, इमरान राव, डा० शहजाद राना, श्रीमती सुमित्रा देवी, पुष्पा रानी, शशीबाला, विशाल शर्मा, श्रीमती बीना शर्मा, साजिद बझेडी डा० अलीक अहमद, मनीष, डा० शलीम मलिक, सहेन्द्र बालियान जिला सचिव आदि ने भाग लिया।