TSCT की पहल रंग लाई:शिक्षिका की मौत के बाद बेसहारा बच्चो को मिलेगा ‘अपना’ आशियाना
टीचर्स सेल्फ केयर टीम से जुड़े शिक्षक साथियो ने की 18 लाख की मदद, बेटे को दिलाई सरकारी नौकरी
मुजफ्फरनगर के प्राथमिक विद्यालय सुजडू में तैनात शिक्षिका मैराज जिया के आकस्मिक निधन के बाद प्रदेश भर से शिक्षिका के परिवार की साथी शिक्षक व् शिक्षिकाओं ने दिल खोलकर मदद की, नतीजा यह निकला की प्रति व्यक्ति 100 रुपये के सहयोग से साढ़े 18 लाख की मदद परिवार तक पहुँच गई। टीचर्स सेल्फ केयर टीम के प्रतिनधिमंडल ने परिवार से मुलाकात कर हर संभव मदद का वादा किया।
बता दे कि टीचर्स सेल्फ केयर टीम उत्तर प्रदेश के बेसिक व माध्यमिक के अध्यापकों की एक संस्था है, जो कि अपने किसी सदस्य के निधन हो जाने पर उसके परिवार के सदस्य का बैंक खाते का नंबर जारी करके अपने सदस्यों से सहयोग की अपील करती है और पूरे प्रदेश में संस्था के सदस्य ₹100 का सहयोग सीधे उस एकाउंट में करते हैं,जिससे उस दिवंगत शिक्षक/ शिक्षिका के नॉमिनी को 18 से 20 लाख रुपए की आर्थिक मदद होती है। संस्था की स्थापना प्रयागराज में जुलाई 2020 में की गई,टीचर्स सेल्फ केयर टीम मृतक शिक्षिका के वारिस को मृतक आश्रित कोटे से सरकारी नौकरी दिलाने में भी मदद करती है,टीचर्स सेल्फ केयर टीम की स्थापना से जुड़े व कोर टीम के सदस्य और प्रदेश के प्रवक्ता डॉक्टर फर्रुख हसन ने बताया कि विगत जून 2021 में संस्था की सदस्य सदस्य श्रीमती मेराज जिया जो की प्राथमिक विद्यालय सूजूडू, ब्लॉक सदर मुजफ्फरनगर में कार्यरत थी,उनका हार्ट अटैक से निधन हो गया था और उनके पति की भी 3 वर्ष पूर्व लंबी बीमारी के चलते मृत्यु हो गई थी, अब उनके परिवार में 3 बच्चे हैं जो कि आर्थिक तंगी के कारण किराए के एक मकान में रहते हैं। टीचर्स सेल्फ केयर टीम ने केवल 20 दिन में श्रीमती मेराज जिया के बड़े पुत्र की शिक्षा विभाग में मृतक आश्रित कोटे से नियुक्ति कराई है तथा अब सहयोग के क्रम में अप्रैल माह में उनके बच्चे का सहयोग पूरे उत्तर प्रदेश के शिक्षकों को ने किया है और मात्र 11 दिन की अवधि में ₹100-100 के सहयोग से उनके पुत्र के खाते में साढ़े 18 लाख से अधिक की आर्थिक सहायता पहुंचाई गई है,शीघ्र ही इस पैसे से तीनों बच्चों का मकान खरीदा जाएगा, इस प्रकार टीचर्स सेल्फ केयर टीम ने अनाथ बच्चों के सिर छुपाने के लिए घर का प्रबंध किया । पूरे प्रदेश के शिक्षक तेजी से टीचर्स सेल्फ टीम के साथ जुड़ रहे हैं क्योंकि यह संस्था निस्वार्थ सेवा व पारदर्शी व्यवस्था के उद्देश्य से कार्य कर रही है और मात्र डेढ़ वर्ष की अवधि में इस टीम ने पूरे प्रदेश के दिवंगत 66 शिक्षक परिवारो को ₹100-100 के सहयोग से लगभग 11 करोड़ 7 लाख की मदद पहुंचाई है अब तक पूरे भारत देश में किसी भी विभाग में ऐसी व्यवस्था कहीं भी नहीं है जिसमें दुखी परिवार की इस प्रकार सहायता की जाती है टीचर्स सेल्फ केयर टीम किसी अध्यापक के दुर्घटना ग्रस्त हो जाने पर भी उसके इलाज के लिए आर्थिक मदद करती है और सहयोग समर्पण और सेवा की अनोखी मिसाल स्थापित करती हैं जो अपने आप में अनूठी और बेमिसाल है।