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अपने अविष्कारों का कराएं पेटेंट: प्रोफेसर शुक्ला

-सीसीएसयू के भौतिक विज्ञान विभाग में हुआ वर्कशॉप का आयोजन
मेरठ। मनुष्य अपने बुद्धि से कई तरह के आविष्कार और नई रचनाओं को जन्म देता है और विशेष अविष्कारों पर उसका पूरा अधिकार दिया है लेकिन, इस अविष्कार का संरक्षण भी बहुत जरूरी है। यह विश्वविद्यालय के लिए अच्छी बात है कि भौतिक विज्ञान विभाग द्वारा वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय के संयुक्त तत्वावधान में पेटेंट के ऊपर यह कार्यशाला की है, इससे छात्र-छात्राओं को काफी लाभ होगा। यह बात चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय की कुलपति प्रोफेसर संगीता शुक्ला ने भौतिक विज्ञान विभाग द्वारा आयोजित वेबीनार के दौरान कहीं।
कुलपति प्रोफेसर संगीता शुक्ला ने भौतिक विज्ञान को वर्कशॉप को कराने के लिए शुभकामना देते हुए कहा कि भौतिक विज्ञान विभाग द्वारा वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय के साथ मिलकर आयोजित की गई इस वर्कशॉप से निश्चित ही चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय केशव छात्रा एवं शिक्षक बौद्धिक संपदा अधिकार के बारे में जागरूक होंगे एवं अपने शोध कार्यों को जनरल में प्रकाशित करने के साथ-साथ उत्कृष्टता एवं नवीनता के आधार पर भौतिक संपदा के पेटेंट के रूप में भी संरक्षित कर सकेंगे। कहां की भारत सरकार के वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय के साथ भविष्य में भी जोड़कर शैक्षणिक एवं शोध गतिविधियों को बढ़ावा देने का आह्वान किया। चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय की प्रति कुलपति प्रोफेसर वाई विमला ने कहा कि भौतिक विज्ञान विभाग द्वारा की गई इस वर्कशॉप को विश्वविद्यालय द्वारा नई शुरूआत की गई है विज्ञान एवं तकनीक के क्षेत्र में विश्व विद्यालय के शिक्षकों द्वारा किए गए शोध एवं नवीन कार्य को भी आवश्यकता अनुरूप पेटेंट कराने का आह्वान किया। एग्जामिनर आॅफ पेटेंट एंड डिजाइन पेटेंट आॅफिस डॉ. कृष्ण कुमार ने कहा कि पेटेंट कराने से पहले उसके विषय में जानकारी भी होना बहुत जरूरी है, जानकारी के पश्चात ही हम अपने आविष्कार को पेटेंट कराएं। हिमांशु मित्तल ने कहां की पेटेंट कराने के लिए किसी प्रकार की शिक्षा का होना जरूरी नहीं है एक अनपढ़ आदमी भी अपने अविष्कार को पेटेंट करा सकता है इसीलिए जरूरी है कि अपने अविष्कार का पेटेंट कराया जाए जिससे उस अविष्कार पर कोई अपना अधिकार ना जमा सके आज हमारे देश में अनेक प्रकार के आविष्कार हो रहे हैं लेकिन पेटेंट ना होने के कारण वह उपयोग में नहीं आ पाते यदि हम अपने आविष्कारों को पेटेंट करा लें तो यह देश के लिए बहुत अच्छा होगा।
बौद्धिक संपदा मनुष्य द्वारा उसके दिमाग से होती है उत्पन्न
भौतिक विज्ञान विभाग के विभागाध्यक्ष प्रोफेसर वीरपाल सिंह ने सभी प्रति प्रतिभागियों एवं अतिथि अतिथियों का स्वागत करते हुए बौद्धिक संपदा के विभिन्न आयामों तथा पेटेंट कॉपीराइट ट्रेडमार्क ट्रेड सर्विस प्लांट ब्रीडिंग साइंस इंटीग्रेटेड सर्किट डिजाइन एवं ज्योग्राफिकल इंडिकेशन विषय में विस्तार से बताया, साथ ही उन्होंने बताया कि शैक्षणिक जगत के लोगों को भौतिक संपदा के साथ-साथ मनुष्य के दिमाग द्वारा उत्पन्न की गई बहुत बौद्धिक संपदा को भी उत्पन्न करना चाहिए बौद्धिक संपदा मनुष्य द्वारा उसके दिमाग से ही उत्पन्न होती है।
200 से अधिक वर्कशॉप में हुए रजिस्ट्रेशन
इस दौरान वर्कशॉप के कोआॅर्डिनेटर प्रोफेसर अनिल मलिक ने सभी का धन्यवाद ज्ञापित किया। प्रोफेसर अनुज कुमार, डॉक्टर संजीव शर्मा ने अतिथियों का परिचय कराया। कार्यक्रम का संचालन डॉ. कविता शर्मा ने किया। इस वर्कशॉप में 200 से अधिक रजिस्ट्रेशन हुए तथा देश के विभिन्न विश्वविद्यालयों एवं संस्थानों के प्रतिभागियों ने भाग लिया। डॉक्टर योगेंद्र गौतम, डॉ. अनिल यादव सहित सभी शिक्षक मौजूद रहें।

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